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RBI ने 5 महीने में तीसरी बार घटाया रेपो रेट, EMI पर ऐसे दिखेगा असर

रिजर्व बैंक ने पांच महीने में तीसरी बार रेपो रेट में कटौती कर दी है। RBI ने बताया है कि रेपो रेट में अब 50 बेसिस पॉइंट की कटौती की गई है। इससे अब मौजूदा रेपो रेट 5.5% हो गई है।

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आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा। (Photo Credit: PTI)

रिजर्व बैंक (RBI) ने आम आदमी को एक बार फिर बड़ी राहत दी है। RBI की मॉनिटरिंग पॉलिसी कमेटी (MPC) की बैठक ने रेपो रेट घटाने का फैसला लिया है। RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा ने इस बात की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कमेटी ने रेपो रेट को 50 बेसिस पॉइंट यानी 0.50% घटाने का फैसला लिया है। इसके बाद अब रेपो रेट 5.50% हो गई है। 


5 महीने में यह तीसरी बार है जब RBI ने रेपो रेट घटाई है। इससे पहले RBI ने 7 फरवरी को रेपो रेट में 0.25% की कटौती की थी। इसके बाद 9 अप्रैल को भी RBI ने रेपो रेट 0.25% कम कर दी थी। इस साल अब तक RBI रेपो रेट में 1% की कटौती कर चुका है।


RBI ने यह फैसला ऐसे वक्त लिया है, जब मार्केट में अनिश्चितता बनी हुई है। ऐसे में RBI के इस फैसले को मिडिल क्लास के लिए बड़ा तोहफा माना जा रहा है। वह इसलिए क्योंकि इससे EMI का बोझ थोड़ा कम हो सकता है।

 

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RBI गवर्नर ने किया ऐलान

RBI की मॉनिटरिंग पॉलिसी कमेटी की बैठक 4, 5 और 6 जून को हुई थी। इसी बैठक में रेपो रेट में कटौती का फैसला लिया गया है। 


इस फैसले की जानकारी देते हुए RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा ने बताया, 'रेपो रेट को 50 बेसिस पॉइंट घटाकर 5.5% कर दिया गया है। यह कटौती तत्काल प्रभाव से लागू होगी।' इसका मतलब हुआ कि रेपो रेट में कटौती का यह फैसला गुरुवार से ही लागू हो जाएगा।

 


RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा ने यह भी बताया कि महंगाई काबू में है और खाद्य महंगाई दर में भी नरमी बनी हुई है, इसलिए रेपो रेट घटाने का फैसला लिया गया।  

 

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इसका असर क्या होगा?

रेपो रेट असल में वह दर होती है, जिस पर रिजर्व बैंक बाकी बैंकों को कर्ज देता है। इसी रेट पर बैंक RBI को ब्याज चुकाते हैं। रेपो रेट कम होगा तो वे कम ब्याज पर ज्यादा लोन लेने का रिस्क उठा सकेंगे। बैंकों को ज्यादा पैसा मिलेगा तो वे इसे कम ब्याज दर पर अपने ग्राहकों को भी देंगे। इससे ग्राहकों की ईएमआई में भी कमी आती है।


इससे बैंकों ने लोगों को जो होम लोन, कार लोन या अन्य लोन बांटे होते हैं या भविष्य में बांटना होता है उसके लिए उनके पास ज्यादा पैसे होते हैं।

 

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कैसे कम हो जाएगी EMI?

रेपो रेट में कटौती का सीधा-सीधा असर लोन और EMI पर पड़ता है। रेपो रेट में कटौती होने से लोन मिलना आसान हो जाता है। साथ ही EMI का बोझ भी कम होता है।


इसे ऐसे समझिए कि आपने 50 लाख रुपये का लोन 20 साल के लिए लिया है। पहले इस पर ब्याज दर 8.75% लगती थी तो इस हिसाब से हर महीने की EMI बनती थी 44,186 रुपये। अब RBI ने रेपो रेट में 0.5% की कटौती कर दी है तो ब्याज दर भी घटकर 8.25% हो जाएगी। इससे EMI घटकर 42,717 रुपये हो जाएगी। यानी हर महीने 1,469 रुपये की बचत होगी।


हालांकि, होम लोन जैसे मामलों में किश्त में जाने वाली राशि के बजाय किश्तों की संख्या कम कर दी जाती है।

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