नेपाल में बांग्लादेश रिपीट, प्रदर्शन के बीच PM ओली का इस्तीफा
दुनिया
• KATHMANDU 09 Sept 2025, (अपडेटेड 09 Sept 2025, 3:05 PM IST)
सोशल मीडिया पर बैन के खिलाफ नेपाल में दो दिन से प्रदर्शन जारी है। इस बीच प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने इस्तीफा दे दिया है।

नेपाल के पीएम केपी शर्मा ओली। (Photo Credit: KP Sharma Oli)
नेपाल में ठीक वैसा ही कुछ हो रहा है, जैसा कुछ पिछले साल 5 अगस्त को बांग्लादेश में हुआ था। बांग्लादेश में भी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन हुआ था और आखिरकार प्रधानमंत्री शेख हसीना को इस्तीफा देकर देश छोड़ना पड़ा था। नेपाल में भी दो दिन से छात्रों का सरकार के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा था। सोमवार से शुरू हुआ प्रदर्शन मंगलवार को भी जारी रहा। राजधानी काठमांडू समेत कई हिस्सों में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं। इस बीच प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। शेख हसीना और केपी शर्मा ओली के इस्तीफे में 400 दिन का अंतर है।
प्रधानमंत्री ओली ने इस्तीफा तब दिया, जब हालात बेकाबू होते जा रहे थे। मंगलवार को कर्फ्यू के बावजूद प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतरे और सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया।
न्यूज एजेंसी PTI के मुताबिक, हजारों की संख्या में प्रदर्शनकारी नारेबाजी करते हुए उनके दफ्तर में घुस गए थे। इससे पहले प्रदर्शनकारियों ने भक्तपुर के बालकोट स्थित ओली के निजी आवास पर आग लगा दी थी। इतना ही नहीं, प्रदर्शनकारियों ने उनकी नेपाली कांग्रेस पार्टी के दफ्तर को भी फूंक दिया था। प्रदर्शनकारी उनके इस्तीफे की मांग कर रहे थे। आखिरकार ओली ने इस्तीफा दे ही दिया।
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प्रदर्शन से इस्तीफे तक की कहानी
- सोशल मीडिया पर बैन: 4 सितंबर को नेपाली सरकार ने फेसबुक, इंस्टाग्राम और वॉट्सऐप समेत 26 सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर बैन लगा दिया। सरकार ने बताया कि इन्होंने रजिस्ट्रेशन नहीं करवाया था, इसलिए इन्हें बैन किया जा रहा है। सरकार का यह भी कहना था कि जिस दिन कंपनियां रजिस्ट्रेशन करवा लेंगी, उस दिन बैन हटा दिया जाएगा।
- जेन-जी प्रोटेस्ट: भ्रष्टाचार को लेकर लोग नाराज थे। सोशल मीडिया ने इस गुस्से को और भड़का दिया। 8 सितंबर को हजारों की संख्या में प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतरे। इनमें ज्यादातर स्कूल और कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र शामिल हैं। इन्होंने न सिर्फ बैन हटाने की मांग की, बल्कि सरकार के खिलाफ भी नारेबाजी की।
- 19 लोगों की मौत: सोमवार को काठमांडू से लेकर ललितपुर समेत कई हिस्सों में प्रदर्शन हुए। प्रदर्शनकारियों ने संसद भवन में घुसने की कोशिश की। पुलिस ने गोलीबारी की और आंसू गैस के गोले दागे। इसके कारण 19 लोगों की मौत हो गई। पुलिस ने बताया था कि 17 मौतें काठमांडू और 2 मौतें सुनसरी जिले में हई।
- मंत्रियों के इस्तीफे: सोमवार रात कैबिनेट की इमरजेंसी मीटिंग बुलाई गई। सोशल मीडिया पर बैन हटाने का फैसला लिया गया। सोमवार को ही आईटी मंत्री पृथ्वी सुब्बा गुरुंग ने इस्तीफा दे दिया। उनके बाद मंगलवार को कृषि मंत्री रामनाथ अधिकारी और फिर स्वास्थ्य मंत्री प्रदीप पौदेल ने इस्तीफा दे दिया।
- इस्तीफे का बढ़ता दबाव: केपी शर्मा ओली अपनी ही सरकार में घिर गए थे। कृषि मंत्री रामनाथ अधिकारी ने इस्तीफा देते हुए आरोप लगाया कि अब देश लोकतंत्र की बजाय 'अधिनायकवाद' की ओर बढ़ रहा है। नेपाली संसद के महासचिव गगन थापा ने भी नैतिकता के आधार पर प्रधानमंत्री ओली से इस्तीफा देने की मांग की।
- आखिरकार इस्तीफा ही बचा: मंगलवार को जगह-जगह जारी हिंसक प्रदर्शन के बीच केपी शर्मा ओली ने हालात संभलने का इंतजार किया। उन्होंने शाम 6 बजे ऑल पार्टी मीटिंग भी बुलाई थी। मगर हालात सुधरने की बजाय बिगड़ते ही जा रहे थे। आखिरकार ओली के सामने इस्तीफे के सामने और कोई रास्ता नहीं था।
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जगह-जगह आगजनी और तोड़फोड़
सोमवार को 19 प्रदर्शनकारियों की मौत ने इस आंदोलन को और भड़का दिया। कर्फ्यू के बावजूद मंगलवार सुबह से ही प्रदर्शनकारी संसद भवन के पास जुटने लगे थे। प्रदर्शनकारियों का कहना था कि कल की घटना ने सरकार की नाकामी को उजागर कर दिया।
प्रदर्शनकारियों ने कई सरकारी इमारतों, पार्टी दफ्तरों और मंत्रियों और पूर्व मंत्रियों के आवास पर हमला किया और तोड़फोड़ और आगजनी की।
VIDEO | Nepal: Helicopters seen flying in Bhaisepati, Lalitpur as violent student-led anti-government protests continued across the Himalayan country for the second day on Tuesday.
— Press Trust of India (@PTI_News) September 9, 2025
The agitators torched the residence of Prime Minister Oli at Balkot in Bhaktapur. Oli is… pic.twitter.com/zhp1QMLzvQ
चश्मदीदों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने ललितपुर जिले के सुनाकोठी में स्थित पूर्व आईटी मंत्री पृथ्वी सुब्बा गुरुंग के आवास पर पत्थरबाजी की है। गुरुंग ने ही सोशल मीडिया पर बैन लगाने का आदेश जारी किया था। प्रदर्शनकारियों ने ललितपुर में खुमाल्तार में पूर्व प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल 'प्रचंड' के घर पर भी तोड़फोड़ की है। इतना ही नहीं, काठमांडू के बुधानीकांठा में पूर्व पीएम शेर बहादुर देउबा के घर के बाहर भी प्रदर्शनकारी नारेबाजी कर रहे हैं।
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ओली के इस्तीफे पर क्या बोले प्रदर्शनकारी?
केपी शर्मा ओली के इस्तीफे के बाद नेपाल में लोग सड़कों पर उतर आए हैं। ओली के इस्तीफे से लोग खुश हो गए हैं।
#WATCH | Kathmandu, Nepal | A protestor says, "It is very good for our country that Nepal Prime Minister K.P. Sharma Oli has resigned. Now the youth will stand and give its contribution in developing the nation..." pic.twitter.com/Bx9cmZp7xG
— ANI (@ANI) September 9, 2025
एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि 'केपी शर्मा ओली के इस्तीफा देने से हम बहुत खुश हैं। एक और प्रदर्शनकारी ने कहा कि ओली का इस्तीफा देना हमारे देश के लिए अच्छा है। उसने कहा कि अब युवा इस देश के विकास में अपना योगदान देंगे।
ओली का राजनीतिक करियर खत्म?
ओली के इस्तीफे के बाद अब ऐसी चर्चाएं भी शुरू हो गई हैं कि उनका राजनीतिक करियर खत्म हो गया है। ओली ने जुलाई 2024 में चौथी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली थी। ओली पहली बार अक्टूबर 2015 में प्रधानमंत्री बने थे। जुलाई 2016 में उन्होंने इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद फरवरी 2018 से अगस्त 2021 के बीच ओली दो बार प्रधानमंत्री बने। जुलाई 2024 में वह फिर प्रधानमंत्री बने।
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