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पीएम मोदी के संबोधन पर क्या कह रहे हैं पाकिस्तान के नेता?

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संबोधन पर पाकिस्तान के नेता बौखला गए हैं। पाकिस्तान के नेता ने पीएम मोदी के संबोधन की आलोचना की है। पाकिस्तानी नेताओं ने सीजफायर को लेकर भी बात की है।

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प्रधानमंत्री मोदी। (Photo Credit: PTI)

'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद सोमवार को पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश को संबोधित किया। पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि भारत के ऑपरेशन सिंदूर से पाकिस्तान बौखला गया और इस बौखलाहट में उसने आतंक पर साथ देने की बजाय भारत पर ही हमला करना शुरू कर दिया। पीएम मोदी ने अपने संबोधन में यह भी साफ कर दिया कि पाकिस्तान से बात होगी तो सिर्फ आतंकवाद पर होगी।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस संबोधन से पाकिस्तानी नेता और बौखला गए हैं। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने पीएम मोदी की तुलना 'आतंकी' से कर दी। ख्वाजा आसिफ ने कहा कि मोदी अपनी इज्जत बचाने की कोशिश कर रहे हैं।

 

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पीएम मोदी के संबोधन पर पाकिस्तान के नेता क्या कह रहे हैं? यह जानने से पहले पढ़ते हैं पीएम मोदी ने अपने संबोधन में क्या-क्या कहा?

पीएम मोदी ने क्या-क्या कहा? 6 पॉइंट्स में समझें

  • पहलगाम अटैक परः 22 अप्रैल को पहलगाम में आतंकवादियों ने जो बर्बरता दिखाई थी, उसने देश और दुनिया को झकझोर दिया था। छुट्टियां मना रहे निर्दोष-मासूम नागरिकों को धर्म पूछकर, उनके परिवार के सामने, उनके बच्चों के सामने, बेरहमी से मार डालना, ये आतंक का बहुत विभत्स चेहरा था, क्रूरता थी। यह देश के सद्भाव को तोड़ने की घिनौनी कोशिश भी थी। मेरे लिए व्यक्तिगत रूप से ये पीड़ा बहुत बड़ी थी। इस आतंकी हमले के बाद सारा राष्ट्र, हर नागरिक, हर समाज, हर वर्ग, हर राजनीतिक दल, एक स्वर में, आतंक के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के लिए उठ खड़ा हुआ। हमने आतंकवादियों को मिट्टी में मिलाने के लिए भारत की सेनाओं को पूरी छूट दे दी और आज हर आतंकी, आतंक का हर संगठन जान चुका है कि हमारी बहनों-बेटियों के माथे से सिंदूर हटाने का अंजाम क्या होता है।
  • ऑपरेशन सिंदूर परः ‘ऑपरेशन सिंदूर’ यह सिर्फ नाम नहीं है, ये देश के कोटि-कोटि लोगों की भावनाओं का प्रतिबिंब है। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ न्याय की अखंड प्रतिज्ञा है। 6 मई की देर रात, 7 मई की सुबह, पूरी दुनिया ने इस प्रतिज्ञा को परिणाम में बदलते देखा है। भारत की सेनाओं ने पाकिस्तान में आतंक के ठिकानों पर, उनके ट्रेनिंग सेंटर्स पर सटीक प्रहार किया। आतंकियों ने सपने में भी नहीं सोचा था कि भारत इतना बड़ा फैसला ले सकता है। लेकिन जब देश एकजुट होता है, नेशन फर्स्ट की भावना से भरा होता है, राष्ट्र सर्वोपरि होता है, तो फौलादी फैसले लिए जाते हैं, परिणाम लाकर दिखाए जाते हैं। जब पाकिस्तान में आतंक के अड्डों पर भारत की मिसाइलों ने हमला बोला, भारत के ड्रोन्स ने हमला बोला, तो आतंकी संगठनों की इमारतें ही नहीं, बल्कि उनका हौसला भी थर्रा गया। बहावलपुर और मुरीदके जैसे आतंकी ठिकाने, एक प्रकार से ग्लोबल टेररिज्म की यूनिवर्सटीज रही हैं। भारत के इन हमलों में 100 से अधिक खूंखार आतंकवादियों को मौत के घाट उतारा गया है। आतंक के बहुत सारे आका, बीते ढाई-तीन दशकों से खुलेआम पाकिस्तान में घूम रहे थे, जो भारत के खिलाफ साजिशें करते थे, उन्हें भारत ने एक झटके में खत्म कर दिया।

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  • पाकिस्तान की बौखलाहट परः भारत की इस कार्रवाई से पाकिस्तान घोर निराशा में घिर गया था, हताशा में घिर गया था, बौखला गया था, और इसी बौखलाहट में उसने एक और दुस्साहस किया। आतंक पर भारत की कार्रवाई का साथ देने के बजाय पाकिस्तान ने भारत पर ही हमला करना शुरू कर दिया। पाकिस्तान ने हमारे स्कूलों-कॉलेजों को, गुरुद्वारों को, मंदिरों को, सामान्य नागरिकों के घरों को निशाना बनाया, पाकिस्तान ने हमारे सैन्य ठिकानों को निशाना बनाया, लेकिन इसमें भी पाकिस्तान खुद बेनकाब हो गया। दुनिया ने देखा कि कैसे पाकिस्तान के ड्रोन्स और पाकिस्तान की मिसाइलें, भारत के सामने तिनके की तरह बिखर गईं। भारत के सशक्त एयर डिफेंस सिस्टम ने, उन्हें आसमान में ही नष्ट कर दिया। पाकिस्तान की तैयारी सीमा पर वार की थी, लेकिन भारत ने पाकिस्तान के सीने पर वार कर दिया। भारत के ड्रोन्स, भारत की मिसाइलों ने सटीकता के साथ हमला किया। पाकिस्तानी वायुसेना के उन एयरबेस को नुकसान पहुंचाया, जिस पर पाकिस्तान को बहुत घमंड था। भारत ने पहले तीन दिनों में ही पाकिस्तान को इतना तबाह कर दिया, जिसका उसे अंदाजा भी नहीं था।
  • सीजफायर परः भारत की आक्रामक कार्रवाई के बाद, पाकिस्तान बचने के रास्ते खोजने लगा। पाकिस्तान, दुनिया भर में तनाव कम करने की गुहार लगा रहा था। और बुरी तरह पिटने के बाद इसी मजबूरी में 10 मई की दोपहर को पाकिस्तानी सेना ने हमारे DGMO को संपर्क किया। तब तक हम आतंकवाद के इंफ्रास्ट्रक्चर को बड़े पैमाने पर तबाह कर चुके थे, आतंकियों को मौत के घाट उतार दिया गया था, पाकिस्तान के सीने में बसाए गए आतंक के अड्डों को हमने खंडहर बना दिया था, इसलिए, जब पाकिस्तान की तरफ से गुहार लगाई गई, पाकिस्तान की तरफ से जब ये कहा गया, कि उसकी ओर से आगे कोई आतंकी गतिविधि और सैन्य दुस्साहस नहीं दिखाया जाएगा। तो भारत ने भी उस पर विचार किया। और मैं फिर दोहरा रहा हूं, हमने पाकिस्तान के आतंकी और सैन्य ठिकानों पर अपनी जवाबी कार्रवाई को अभी सिर्फ स्थगित किया है। आने वाले दिनों में, हम पाकिस्तान के हर कदम को इस कसौटी पर मापेंगे कि वह क्या रवैया अपनाता है।

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  • आतंक की नई नीति परः सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक के बाद, अब ऑपरेशन सिंदूर आतंक के खिलाफ भारत की नीति है। ऑपरेशन सिंदूर ने आतंक के खिलाफ लड़ाई में एक नई लकीर खींच दी है, एक नया पैमाना, न्यू नॉर्मल तय कर दिया है। पहला- भारत पर आतंकी हमला हुआ तो मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा। हम अपने तरीके से, अपनी शर्तों पर जवाब देकर रहेंगे। हर उस जगह जाकर कठोर कार्यवाही करेंगे, जहां से आतंक की जड़ें निकलती हैं। दूसरा- कोई भी न्यूक्लियर ब्लैकमेल भारत नहीं सहेगा। न्यूक्लियर ब्लैकमेल की आड़ में पनप रहे आतंकी ठिकानों पर भारत सटीक और निर्णायक प्रहार करेगा। तीसरा- हम आतंक की सरपरस्त सरकार और आतंक के आकाओं को अलग-अलग नहीं देखेंगे। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान, दुनिया ने, पाकिस्तान का वो घिनौना सच फिर देखा है, जब मारे गए आतंकियों को विदाई देने, पाकिस्तानी सेना के बड़े-बड़े अफसर उमड़ पड़े। स्टेट स्पॉन्सरड टेरेरिज्म का ये बहुत बड़ा सबूत है। हम भारत और अपने नागरिकों को किसी भी खतरे से बचाने के लिए लगातार निर्णायक कदम उठाते रहेंगे।
  • पाकिस्तान से बातचीत परः पाकिस्तानी फौज, पाकिस्तान की सरकार, जिस तरह आतंकवाद को खाद-पानी दे रहे है, वह एक दिन पाकिस्तान को ही समाप्त कर देगा। पाकिस्तान को अगर बचना है तो उसे अपने टैरर इंफ्रास्ट्रक्चर का सफाया करना ही होगा। इसके अलावा शांति का कोई रास्ता नहीं है। भारत का मत एकदम स्पष्ट है, टैरर और टॉक, एक साथ नहीं हो सकते, टैरर और ट्रेड, एक साथ नहीं चल सकते। और, पानी और खून भी एक साथ नहीं बह सकता। मैं आज विश्व समुदाय को भी कहूंगा, हमारी घोषित नीति रही है, अगर पाकिस्तान से बात होगी, तो टेरेरिज्म पर ही होगी, अगर पाकिस्तान से बात होगी, तो पाकिस्तान ऑक्यूपाइड कश्मीर, PoK उस पर ही होगी।

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बौखलाए पाकिस्तानी कर रहे विवादित बातें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संबोधन पर पाकिस्तान और बौखला गया है। पाकिस्तान के नेताओं की तरफ से पीएम मोदी को लेकर विवादित बयानबाजी कर रहे हैं।


पाकिस्तान के पूर्व मंत्री फवाद चौधरी ने पीएम मोदी के संबोधन को 'खोखली बयानबाजी' बताया। फवाद चौधरी ने कहा, 'पहलगाम अटैक के बाद भागे चार आतंकवादियों के बारे में उनके पास कोई जानकारी नहीं है।' चौधरी ने कहा कि पीएम मोदी के वादों से लोगों का भरोसा उठ रहा है।


प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की पार्टी PMNL-N के सीनेटर इरफान सिद्दिकी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी एक 'हारे हुए व्यक्ति' की तरह दिख रहे थे। सिद्दिकी ने कहा, 'मैंने प्रधानमंत्री मोदी के भाषण को ध्यान से सुना। ऐसा लग रहा था, जैसे वे कोई हारे हुए व्यक्ति हों। न उनके शब्दों में कोई जान थी। न उनकी बॉडी लैंग्वेज में कोई जान थी।' सिद्दिकी ने कहा, 'हार की आलोचन ने उनपर असर डाला है। आप इसे उनके चेहरे पर साफ देख सकते हैं। वह खोखली बयानबाजी से परे सफलता का कोई सबूत पेश नहीं कर सकते।'


इरफान सिद्दिकी ने कहा, 'पीएम मोदी के भाषण में कुछ भी भरोसेमंद नहीं था। उन्होंने सिर्फ इतना कबूल किया कि इस संघर्ष की शुरुआत पहलगाम अटैक की आड़ में भारत ने की थी।' सिद्दिकी ने सीजफायर की बात पर कहा, 'अगर पाकिस्तान सीजफायर चाहता तो वह किसी भी समय इसका अनुरोध कर सकता था। 10 मई को आप हार गए थे। हम सभी जानते हैं कि सीजफायर का अनुरोध किसने किया था।'


पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने तो पीएम मोदी को लेकर बेहद ही आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी। ख्वाजा आसिफ ने कहा, 'यह एक नेता के तौर पर अपनी इज्जत बचाने की हताशापूर्ण कोशिश है। मुझे नहीं लगता कि उनकी बातों में कोई दम है।'


जियो न्यूज से बात करते हुए ख्वाजा आसिफ ने कहा, 'दुनिया में सबसे ज्यादा सर्टिफाइड टेररिस्ट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं। वे आतंकवाद को विदेश ले गए हैं। वे सिखों को निशाना बनाने के लिए कनाडा गए थे।'

 

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हर साल 10 मई को जश्न मनाएगी PAK सरकार

पाकिस्तान की सरकार अपनी कथित जीत का जश्न मनाने जा रही है। शहबाज शरीफ की सरकार ने भारत के 'ऑपरेशन सिंदूर' के खिलाफ 'ऑपरेशन बन्यानुम अल मरसूस' शुरू किया था। पाकिस्तान की सरकार इसे कामयाब ऑपरेशन बता रही है। 


प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने सोमवार को ऐलान किया कि ऑपरेशन की कामयाबी के लिए हर साल 10 मई को 'यौम-ए-मरका-ए-हक' मनाया जाएगा। शहबाज शरीफ ने भारत की कार्रवाई में मारे गए और घायल हुए लोगों के लिए मुआवजे का ऐलान भी किया। 


शरीफ ने ऐलान किया कि इस कार्रवाई में मारे गए सैनिकों के परिवार वालों को रिटायरमेंट तक सारी सैलरी और भत्ते मिलते रहेंगे। उन्होंने टूटे हुए घरों को ठीक कराने का ऐलान भी किया।

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