पोप फ्रांसिस का निधन हो गया है। वे 88 साल के थे और लंबे वक्त से बीमार चल रहे थे। पोप फ्रांसिस का निधन सोमवार को स्थानीय समयानुसार 7 बजकर 35 मिनट पर हुआ। कार्डिनल केविन फेरेल ने पोप फ्रांसिस के निधन की घोषणा की। वेटिकन सिटी ने एक बयान जारी कर बताया है कि स्ट्रोक आने के बाद उनके दिल की धड़कनें बंद हो गई थीं।
पोप के निधन के बाद 9 दिन का शोक मनाया जाएगा। रोम की प्रथा में इसे 'नवेंडियाले' कहा जाता है। इसके साथ ही अब अगले पोप के चयन की प्रक्रिया भी शुरू हो जाएगी। नए पोप का चुनाव 'पापल कॉन्क्लेव' में होता है। यह कॉन्क्लेव वेटिकन सिटी के सिस्टिन चैपल में होती है।
इस कॉन्क्लेव में 80 साल से कम उम्र के कार्डिनल्स ही वोट कर सकते हैं। इस समय दुनियाभर में 255 कार्डिनल्स (पादरी) हैं, जिनमें से 135 पोप को चुनने के लिए वोट करेंगे। नए पोप को चुनने में जो कार्डनिल्स वोट करेंगे, उनमें से 4 भारतीय हैं।
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4 भारतीय कार्डिनल्स कौन हैं?
- कार्डिनल फिलिप नेरी फेराओः 72 साल के फिलिप नेरी फेराओ गोवा और दमन के आर्चबिशप हैं। फिलिप नेरी कैथोलिक बिशप्स कॉन्फ्रेंस ऑफ इंडिया और फेडरेशन ऑफ एशियन बिशप्स कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष भी हैं। उन्हें 28 अक्टूबर 1979 को पादरी नियुक्त किया गया था।10 अप्रैल 1994 को बिशप बनाया गया। 27 अगस्त 2022 को पोप फ्रांसिस ने उन्हें कार्डिनल बनाया।
- कार्डिनल क्लीमिस बेसेलियोसः इनकी उम्र 64 साल है और वे त्रिवेंद्रम की सिरो-मलंकारा कैथोलिक चर्च के मेजर आर्चबिशप हैं। सिरो-मलंकारा कैथोलिक चर्च के पहले कार्डिनल हैं, जिसे 2012 में पोप बेनेडिक्ट XVI ने नियुक्त किया था। वह केरल कैथोलिक बिशप्स काउंसिल के अध्यक्ष हैं और 2014-2018 तक कैथोलिक बिशप्स कॉन्फ्रेंस ऑफ इंडिया के अध्यक्ष रहे हैं। 24 नवंबर 2012 को उन्हें कार्डिनल बनाया गया। उन्होंने 2013 में पोप फ्रांसिस के चुनाव में भी हिस्सा लिया था।
- कार्डिनल एंथनी पूलाः 63 साल के एंथनी पूला हैदराबाद के मेट्रोपॉलिटन आर्चबिशप हैं। वह भारत के पहले दलित कार्डिनल हैं, जो जातिगत असमानताओं को संबोधित करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। 27 अगस्त 2022 को पोप फ्रांसिस ने उन्हें कार्डिनल बनाया। वह पहले कुरनूल के बिशप (2008-2020) और कडपा डायोसीस के पादरी थे।
- कार्डिनल जॉर्ज जैकब कूवाकड़ः 51 साल के जॉर्ज जैकब सबसे युवा मतदाता कार्डिनल्स में से एक हैं। 24 जुलाई 2004 को वे पादरी बने थे। 24 नवंबर 2024 को बिशप बने और 7 दिसंबर 2024 को पोप फ्रांसिस ने उन्हें कार्डिनल बनाया।
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भारत में कितने कार्डिनल्स हैं?
भारत में कुल 6 कार्डिनल्स हैं लेकिन इनमें से दो- ऑस्वाल्ड ग्रेसियस और जॉर्ज एलेंचेरी 80 साल से ज्यादा उम्र के होने के कारण वोटिंग में हिस्सा नहीं ले सकते। जॉर्ज एलेंचरी 19 अप्रैल को ही 80 साल के हुए हैं।
कैसे चुना जाता है नया पोप?
नए पोप का चुनाव 'पापल कॉन्क्लेव' में होता है। यह प्रक्रिया बहुत ही गुप्त होती है। इस दौरान वोटिंग करने वाले सभी कार्डिनल्स को सिस्टिन चैपल में बंद कर दिया जाता है और उन्हें बाहरी दुनिया से कोई संपर्क नहीं रखने दिया जाता।
कार्डिनल्स कई दौर में वोटिंग करते हैं। हरेक कार्डिनल अपने पसंदीदा उम्मीदवार का नाम एक मतपत्र पर लिखता है। नए पोप के लिए दो-तिहाई बहुमत जरूरी होता है। हर राउंड के बाद मतपत्रों को जला दिया जाता है।
अगर कोई उम्मीदवार दो-तिहाई वोट नहीं पाता, तो काला धुआं निकलता है, जिसे फुमाता नेरा कहा जाता है। इससे पता चलता है कि अभी कोई पोप नहीं चुना गया है। जब कोई उम्मीदवार चुन लिया जाता है, तो सफेद धुआं निकलता है, जिसे फुमाता बियांका कहते हैं। इससे पता चलता है कि नया पोप चुन लिया गया है।