यूनाइटेड किंगडम (UK) ने भारत को उन देशों की लिस्ट में रख दिया है जिनके नागरिकों को बिना अपील के लिए वहां से डिपोर्ट कर दिया जाएगा। इसे 'डिपोर्ट नाउ, अपील लेटर' नाम दिया गया है। इन देशों के नागरिक अगर किसी आपराधिक मामले में दोषी पाए जाते हैं तो उन्हें तुरंत उनके देश भेज दिया जाएगा। ये सभी लोग आगे की कानूनी प्रक्रिया में अपने-अपने देश से वीडियो कॉल के जरिए शामिल हो सकेंगे। इससे पहले कुल 8 देशों के नागरिकों को UK से तुरंत डिपोर्ट कर दिया जाता था। अब 15 और देशों के नाम इस लिस्ट में जोड़ दिए गए हैं। UK की तरफ से बताया गया है कि जिन लोगों को इस तरह से डिपोर्ट किया जाएगा, वे दोबारा UK नहीं जा सकेंगे।
यह भी बताया गया है कि ये नियम आतंकवादियों, हत्या के दोषियों और आजीवन कारावास की सजा पाने वाले लोगों पर लागू नहीं होंगे। इस तरह के अपराधियों को ब्रिटेन की जेल में ही सजा काटनी होगी, उसके बाद ही इन्हें डिपोर्ट किया जाएगा। दरअसल, इससे पहले कई देशों के अपराधी मानवाधिकार कानूनों के तहत अपील कर देते थे और कई साल तक यूनाइडेड किंगडम में ही रहते थे। नए नियमों के तहत जिन लोगों को डिपोर्ट कर दिए जाएगा, वे दोबारा UK नहीं जा सकेंगे। इस तरह की सजा पाए लोग जब भारत पहुंचेंगे तो यह भारत को तय करना है कि उन्हें जेल भेजा जाएगा या आजाद कर दिया जाएगा।
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बाकी देशों से भी जारी है बात
अब इस तरह के देशों की संख्या 23 तक पहुंच गई है लेकिन UK की सरकार कई अन्य देशों से भी बात कर रही है ताकि उनके साथ इस तरह की सहमति बन सके। आपको बता दें कि 30 जून 2025 तक इंग्लैंड और वेल्स की जेलों में 320 भारतीय बंद थे। इसमें 10 महिलाएं और 310 पुरुष थे। मौजूदा नियमों के मुताबिक, अपनी सजा का 30 पर्सेंट जेल में काटने के बाद UK ज्यादातर कैदियों को डिपोर्ट कर देता है।
अब इसी नियम में बदलाव करते हुए UK के न्याय मंत्रालय ने फैसला सुनाया है कि अब से ऐसे कैदियों को तुरंत डिपोर्ट किया जाएगा। इस बारे में जस्टिस सेक्रेटरी शबाना महमूद ने कहा है, 'हमारा संदेश साफ है: अगर आप हमारी हॉस्पिटैलिटी का गलत इस्तेमाल करते हैं और कानून तोड़ते हैं तो हम आपको वापस भेज देंगे।'
इसके बारे में UK के होम सेक्रेटरी वेट कूपर(Yvette Cooper) ने कहा है, 'काफी लंबे समय से विदेशी अपराधी हमारे इमिग्रेशन सिस्टम का दुरुपयोग कर रहे थे और कई महीनों या कई साल तक UK में ही रुके रहते थे। यही वजह है कि अब हम नियम बदल रहे हैं और संदेश दे रहे हैं कि हमारे कानूनों का पालन किया जाना चाहिए।'
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बताते चलें कि 2024 की पहली तिमाही में UK ने भारत के 1903 लोगों को डिपोर्ट किया है। वहीं, पिछले साल कुल 6069 भारतीय UK से डिपोर्ट किए गए थे। इसमें ज्यादातर ऐसे लोग थे जो वीजा खत्म होने के बावजूद UK में ही रुके थे या फिर वहां शरण पाने के उनके प्रयास सफल नहीं हुए थे।
इससे पहले ये नियम 8 देशों पर लागू थे:-
- फिनलैंड
- नाइजीरिया
- एस्तोनिया
- अल्बानिया
- बेलीज
- मॉरीशस
- तंजानिया
- कोसोवो
अब नए देश शामिल किए गए हैं:-
- अंगोला
- ऑस्ट्रेलिया
- बोत्सवाना
- ब्रूनेई
- बुल्गेरिया
- कनाडा
- गुयाना
- भारत
- इंडोनेशिया
- केन्या
- लातविया
- लेबनान
- मलेशिया
- युगांडा
- जांबिया