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विमान हादसा: हर टुकड़ा सबूत, ब्लैक बॉक्स पर नजरें, अब तक क्या पता चला?

बोइंग 787 विमान के क्षतिग्रस्त होने के एक दिन बाद ब्लैक बॉक्स का एक हिस्सा मिल गया है। ब्लैक बॉक्स का डेटा पढ़ा जा रहा है। जिन एयरलाइन कंपनियों के पास बोइंग 787 है, उन्हें रखरखाव को लेकर अलर्ट रहने को कहा गया है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट।

Air India plane crashes in Ahmedabad

अहमदाबाद में दुर्घटनाग्रस्त विमा्न। (Photo Credit: PTI)

अहमदाबाद विमान हादसे ने देश को झकझोर दिया है। एयर इंडिया की फ्लाइट संख्या AI-171 के दुर्घटनाग्रस्त होने की वजह से 241 लोगों की जान चली गई। यह बीते 3 दशक में भारत का सबसे बड़ा विमान हादसा है। शुक्रवार को जांचकर्ताओं ने मलबे में ब्लैक बॉक्स ढूंढना शुरू किया। कैसे महज 33 सेकेंड में विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ, आखिरी लम्हों में क्या हुआ, अभी इसका पता नहीं चल पाया है।

 

एयर इंडिया का बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर विमान गुरुवार को अहमदाबाद हवाई अड्डे से उड़ान भरने के 33 सेकंड बाद ही बीजे मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल मेस की इमारत से टकरा गया। प्रत्यक्षदर्शियों और अधिकारियों का कहना है कि विमान का पहिया उड़ान भरते समय खुला रहा। इसे सामान्य नहीं माना जा सकता। आस पास की सड़कों पर अब विमान के पंखों के क्षतिग्रस्त हिस्से नजर आए। ऐविएशन एक्सपर्ट्स का कहना है कि विमान को उड़ने के लिए जिस लिफ्ट की जरूरत थी, वह नहीं मिल पाई।

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जांच में क्या हो रहा है? 

एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की टीमें मलबे की जांच कर रही हैं। एक फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर हॉस्टल की छत से बरामद हुआ है। यह हादसे की वजह बताने में मददगार साबित हो सकता है। बोइंग कंपनी के एक्सपर्ट और अमेरिका की नेशनल ट्रांसपोर्टेशन सेफ्टी बोर्ड (NTSB) की टीमें भी जांच में मदद कर रही हैं। विमान के दो जनरल इलेक्ट्रिक 'जेनएक्स' इंजनों के हिस्सों को विश्लेषण के लिए अमेरिका भेजा जा रहा है। 

 

क्या हो सकती है वजह?

  • तकनीकी खराबी: विमान के इंजन, फ्लैप, या लैंडिंग गियर में खराबी।  
  • पायलट की गलती: उड़ान से पहले गलत डेटा फीड करना।
  • हवा में पक्षी का टकराना: पक्षी टकराने की आशंका को फिलहाल खारिज किया गया है।
  • खराब मौसम: जिस दिन हादसा हुआ है, उस दिन मौसम सामान्य था।


कैसे सामने आएगी, हादसे की वजह?

विमानन विशेषज्ञों का कहना है कि ब्लैक बॉक्स से इंजन की क्षमता, फ्लैप की सेटिंग और कॉकपिट की स्थिति का पता चल सकता है। अगर डेटा सही दर्ज नहीं हुआ तो फ्लैप काम नहीं कर सके होंगे, जिससे विमान को पर्याप्त थ्रस्ट नहीं मिला होगा। थ्रस्ट की वजह से विमान लिफ्ट नहीं हो पाया होगा। 

विमाान का मलबा। (Photo Credit: PTI)

 

 

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DGCA ने क्या कदम उठाए हैं? 

DGCA ने हादसे के 24 घंटे के भीतर एयर इंडिया को छह महत्वपूर्ण सिस्टम ईंधन, इंजन कंट्रोल, हाइड्रोलिक, और टेक-ऑफ सेटिंग्स की गहन जांच करने का आदेश दिया है। विशेषज्ञों का मानना है कि ये जांच हादसे की संभावित वजहों की ओर इशारा कर सकती है। 


जहां गिरा था विमान, वहां अब कैसा है मंजर?

हिंदुस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक हादसे की जगह पर विमान के टुकड़े 200 मीटर के दायरे में आठ इमारतों तक बिखरे पड़े हैं। विमान का स्टेबलाइजर हिस्सा हॉस्टल की दूसरी मंजिल की दीवार में धंसा है। पास में लैंडिंग गियर का पहिया फंसा है। विमान का पिछला हिस्सा और मुख्य हिस्सा भी बुरी तरह क्षतिग्रस्त है। कुछ सामान बरामद हुए हैं, जिनमें खून के धब्बे दिखे हैं। 


हर टुकड़ा सबूत, मलबे की निगरानी

जहां विमान के टुकड़े गिरे हैं, उस जगह से लोगों को हटाया गया है। विमान का हर टुकड़ा सबूत हो सकता है। AAIB, बोइंग, और NTSB मिलकर मलबे का अध्ययन करेंगे। गुजरात पुलिस और एयर इंडिया के अधिकारी मलबे की निगरानी कर रहे हैं। 

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टाटा और बोइंग ने हादसे पर क्या कहा है? 

साल 2022 में टाटा समूह ने एयर इंडिया का अधिग्रहण किया था। टाटा के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने इसे टाटा समूह के इतिहास का सबसे काला दिन बताया। बोइंग के CEO केली ऑर्टबर्ग ने पेरिस एयर शो में जाने का कार्यक्रम रद्द कर दिया है। भारत से वादा किया है कि जांच में सहयोग करेंगे।


अब क्या हो सकता है?

विशेषज्ञों का कहना है कि अगर ब्लैक बॉक्स सही हालत में है तो अगले हफ्ते तक हादसे की वजह के बारे में कोई निष्कर्ष दिया जा सकता है। अहमदाबाद में हादसे वाली जगह से मलबा हटाया जा रहा है। विमान के टुकड़ों को जांच के लिए संरक्षित रखा गया है। यह हादसा, एयर इंडिया के साथ-साथ भारतीय विमानन उद्योग पर भी सवाल खड़े कर रहा है।

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