प्रवर्तन निदेशालय (ED) मंगलवार को ओपन सोसायटी फाउंडेशन (OSF) और उससे जुड़ी संस्थाओं के खिलाफ छापेमारी कर रही है। यह संस्थाएं अमेरिकी अरबपति जॉर्ज सोरोस से जुड़ीं हैं। यह छापेमारी बेंगलुरु में की जा रही है।
क्यों हो रही है छापेमारी?
न्यूज एजेंसी PTI ने सूत्रों के हवाले से बताया कि यह छापेमारी फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट (FEMA) के तहत OSF और कुछ अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार संगठनों के खिलाफ की जा रही है।
बताया जा रहा है कि ED यह छापेमारी इसलिए कर रही है, क्योंकि OSF के खिलाफ कथित तौर पर विदेशी निवेश (FDI) हासिल करने और FEMA की गाइडलाइंस का उल्लंघन करने की शिकायत मिली थी।
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1999 से भारत में काम कर रहा OSF
जॉर्ज सोरोस और उनके संगठन OSF पर बीजेपी अक्सर भारत विरोधी काम करने का आरोप लगाती है। अडानी-हिंडनबर्ग विवाद के दौरान भी जॉर्ज सोरोस की टिप्पणियों पर बवाल हुआ था। भारत में जॉर्ज सोरोस की OSF 1999 से काम कर रही है।
2016 में भारत ने ओपन सोसयटी फाउंडेशन को मॉनिटरिंग लिस्ट में डाल दिया था। इसके बाद भारत के संस्थानों को फंडिंग करने से पहले OSF को गृह मंत्रालय की मंजूरी लेनी पड़ती है।
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कौन हैं जॉर्ज सोरोस?
1930 में हंगरी के बुडापेस्ट में जन्मे जॉर्ज सोरोस दूसरे विश्व युद्ध जान बचाकर लंदन आ गए थे। उन्होंने लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से पढ़ाई की थी। 1956 में सोरोस लंदन छोड़कर अमेरिका आ गए। यहां आकर उन्होंने फाइनेंस और इन्वेस्टमेंट का काम शुरू किया।
सोरोस खुद को जरूरतमंदों की मदद करने वाला बताते हैं। साल 1979 से सोरोस अपनी संपत्ति दान करते आ रहे हैं। ऐसा कहा जाता है कि सोरोस अपनी पर्सनल वेल्थ से 32 अरब डॉलर दान कर चुके हैं। सोरोस ओपन सोसायटी फाउंडेशन भी चलाते हैं।