देश के शहरों में रहने वाली लगभग 40 फीसदी महिलाएं खुद को सुरक्षित महसूस नहीं करती हैं। इसका खुलासा महिला सुरक्षा पर राष्ट्रीय वार्षिक रिपोर्ट और सूचकांक (NARI 2025) की रिपोर्ट में हुआ। गुरुवार को राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया किशोर रहाटकर ने आंकड़ों को सार्वजनिक किया। रिपोर्ट के मुताबिक महिलाओं में शाम ढलते ही अपर्याप्त रोशनी और सुरक्षा की कमी के कारण खुद की चिंता बढ़ जाती है। देश के सभी राज्यों के कुल 31 शहरों की 12,770 महिलाओं की बातचीत के आधार पर यह रिपोर्ट तैयार की गई। इसे पीवैल्यू एनालिटिक्स ने तैयार किया है।
ग्रुप ऑफ इंटेलेक्चुअल्स एंड एकेडमिशियंस (GIA) द्वारा प्रकाशित रिपोर्ट में लगभग 75 फीसदी महिलाओं ने माना कि उन्हें अपने खिलाफ अपराध से जुड़ी शिकायत के उचित समाधान का भरोसा नहीं है। इसमें यह भी खुलासा हुआ कि असुरक्षा से जु़ड़ी घटनाओं की रिपोर्टिंग भी सीमित है। सिर्फ 33 प्रतिशत महिलाओं ने ही घटना की जानकारी अधिकारियों को दी। उससे भी हैरानी की बात यह है कि केवल 16 प्रतिशत मामलों में ही एक्शन लिया गया।
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53 फीसदी महिलाओं को POSH की जानकारी नहीं
नारी 2025 की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले साल यानी 2024 में 7 फीसदी महिलाओं ने उत्पीड़न का सामना किया। इसमें अश्लील कमेंट, राह चलते छूना, छेड़खानी और घूरना शामिल है। रिपोर्ट में महिला उत्पीड़न के पीछे की वजह भी बताई गई। इसमें गया गया कि खराब रोशनी, अपर्याप्त इंफ्रास्ट्रक्चर और अकुशल सार्वजनिक परिवहन इसके लिए जिम्मेदार हैं। देशभर में लगभग 53 फीसदी महिलाओं को यह भी नहीं पता कि उनके ऑफिस में POSH नीति है या नहीं, जबकि कानूनी तौर पर यह हर दफ्तर में अनिवार्य है।
कोहिमा देश का सबसे सुरक्षित शहर
झारखंड की राजधानी रांची में 44 फीसदी महिलाएं खुद को असुरक्षित मानती हैं। अगर दिल्ली एनसीआर की बात करें तो देश के पांच सबसे असुरक्षित शहरों में दिल्ली और फरीदाबाद का नाम शामिल है। इन शहरों में लगभग 42 फीसदी महिलाएं खुद को असुरक्षित बताया है। देश में अगर महिलाएं किसी शहर में सबसे अधिक सुरक्षित महसूस करती हैं तो वह शहर कोहिमा है। यहां 80 फीसदी से अधिक महिलाओं ने खुद को सुरक्षित बताया है। गंगटोक, ईटानगर, मुंबई, आइजोल, भुवनेश्वर और विशाखापत्तनम में लगभग 70 फीसदी महिलाएं खुद को सुरक्षित मानती हैं।
सबसे कम सुरक्षित शहर
- रांची
- श्रीनगर
- फरीदाबाद
- कोलकाता
- दिल्ली
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क्या बोलीं महिला आयोग की अध्यक्ष?
नारी 2025 रिपोर्ट पर महिला आयोग की अध्यक्ष विजया राहटकर ने कहा, 'यह महिलाओं की सुरक्षा में बेहद उपयोगी साबित होगी। एक सर्वसमावेशी रिपोर्ट तैयार की गई है। इसमें सभी कारकों को ध्यान में रखा गया है। जैसे- महिलाओं को सुरक्षा और सम्मान प्रदान करने में अन्य तत्व कैसे योगदान करते हैं। अगर वे इस रिपोर्ट को स्थानीय अधिकारियों या स्थानीय निकायों को वितरित कर दें तो इसे लागू करना बेहद आसान हो जाएगा। राष्ट्रीय महिला आयोग भी उनकी मदद करेगा।'