• MUMBAI 12 Jan 2025, (अपडेटेड 12 Jan 2025, 7:59 AM IST)
महाराष्ट्र भारतीय जनता पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष रवींद्र चव्हाण को बनाया गया है। चंद्रशेखर बावनकुले अभी अध्यक्ष हैं। बीजेपी में एक व्यक्ति एक पद का सिद्धांत हैं।
महाराष्ट्र बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष रवींद्र चव्हाण। (Photo Credit: BJP/X)
भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने शनिवार को पूर्व कैबिनेट मंत्री रवींद्र चव्हाण को महाराष्ट्र के लिए अपना कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया। है। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने यह ऐलान किया है। रविवार को शिरडी में बीजेपी की एक राज्य स्तरीय बैठक होने वाली थी, उससे पहले यह फैसला लिया गया है।
महाराष्ट्र के मौजूदा राज्य प्रमुख चंद्रशेखर बावनकुले हैं। उनका तीन साल का कार्यकाल अगस्त 2025 को ही पूरा होने वाला था। अब चंद्रशेखर बावनकुले महाराष्ट्र सरकार में मंत्री हैं। महाराष्ट्र चुनावों में बीजेपी के शानदार प्रदर्शन के पीछे उनकी भी अहम भूमिका कही जाती है।
क्यों चंद्रशेखर बावनकुले की विदाई हुई? भारतीय जनता पार्टी के पार्टी की नियमावली में एक व्यक्ति एक पद का प्रवाधान है। वह देवेंद्र फडणवीस की कैबिनेट में राजस्व मंत्री हैं। ऐसे में उन्हें अपना एक पद छोड़ना होगा। बीजेपी के आंतरिक संविधान की यही शर्त होती है। अब इसलिए ही रवींद्र चव्हाण को ये जिम्मेदारी सौंपी गई है। हालांकि वह निकाय चुनाव होने तक अध्यक्ष बने रह सकते हैं।
क्यों रवींद्र चव्हाण को ही मिला मौका? रवींद्र चव्हाण को देवेंद्र फडणवीस की कैबिनेट में शामिल नहीं किया गया था। महाराष्ट्र के दिग्गज नेताओं में से वह एक हैं। यह अटकलें एक अरसे से लगाई जा रही थीं कि बावनकुले का कार्यकाल जैसे ही खत्म होगा, रवींद्र चव्हाण को यह पद मिल सकता है। सूत्रों के मुताबिक यह उनकी नाराजगी दूर करने के लिए पार्टी ने यह कदम उठाया है।
पिछले महीने चव्हाण को भाजपा का राज्य प्रभारी बनाया गया था। रवींद्र चव्हाण देवेंद्र फडणवीस के करीबी नेताओं में शुमार हैं। वह माराठा चेहरा हैं, निकाय चुनाव में उनकी रणनीति अहम रही है। बीएमसी चुनावों के अब वह मुख्य रणनीतिकार बनने जा रहे हैं।
कौन हैं रवींद्र चव्हाण? रवींद्र चव्हाण पूर्व पब्लिक वर्क डिपार्टमेंट (PWD) मंत्री रहे हैं। वह डोंबिवली विधानसभा से विधायक हैं। रवींद्र चव्हाण को कोंकण रेंज की जिम्मेदारी सौंपी थी। इस क्षेत्र में कुल 39 विधानसभाएं आती हैं। इन विधानसभाओं में बीजेपी ने अच्छा प्रदर्शन किया है।
2000 के दशक में रवींद्र चव्हाण ने भी कल्याण-डोंडीवली नगर निगम में पार्षद के तौर पर अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत की थी।
कल्याण डोंबिवली महानगरपालिका की स्थाई समिति के अध्यक्ष के तौर पर भी काम किया। साल 2009 में वह पहली बार विधानसभा की राजनीति में उतरे, उन्होंने चुनाव में जीत दर्ज की। वह 4 बार से विधायक हैं। मराठाओं में उनकी पकड़ है, कोंकण इलाके में उनका दबदबा है।
सीएम देवेंद्र फडणवीस और रवींद्र चव्हाण। (तस्वीर- BJP/X)
उपलब्धियां क्या-क्या हैं? सामान्य कार्यकर्ता से लेकर वह कार्यकारी अध्यक्ष तक पहुंचे हैं। साल 2016 से 2019 तक वह बीजेपी-शिवसेना गठबंधन सराकर में मंत्री रहे। उन्हें बंदरगाह, चिकित्सा, सूचना प्रौद्योगिकी, खाद्य और नागरिक आपूर्ति सहित कई अहम विभागों की जिम्मेदारी भी दी गई।