देश आज 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। आजादी के 78 सालों में भारत नई बुलंदियों पर पहुंचा है। मंगल से लेकर चांद तक हमारी पहुंच है। भारत दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है। मगर खेलों में हमारी स्थिति ज्यादा बेहतर नहीं हुई है। आजादी के बाद भारत ओलंपिक में सिर्फ 36 मेडल ही जीत पाया है। खेल बजट लगभग 4 हजार करोड़ के करीब है लेकिन किसी एक ओलंपिक में मेडल्स की संख्या दोहरे अंकों में पहुंचाना अभी भी दूर दिख रहा है। हॉकी और फुटबॉल में हम लगातार पिछड़ रहे हैं। शूटिंग और रेसलिंग की स्थिति अच्छी है लेकिन उम्मीदानुसार ओलंपिक मेडल नहीं आ पाया है। आइए जानते हैं मौजूदा समय में देश के टॉप-5 खेलों का क्या हाल है?
फुटबॉल में बुरा हाल
भारतीय फुटबॉल टीम का प्रदर्शन बद से बदतर होता जा रहा है, जिसे लेकर बवाल मचा हुआ है। भारतीय पुरुष फुटबॉल टीम की रैंकिंग गिरकर 133वें नंबर पर आ गई है। इसी साल जून में AFC एशियन कप 2027 के क्वालिफायर में भारत को अपने से निचली रैंकिंग की टीम हॉन्ग कॉन्ग से हार का सामना करना पड़ा था। कभी 'एशिया की ब्राजील' कही जाने वाली भारतीय फुटबॉल टीम एशियन कप से बाहर होने की कगार पर है।
1950 से 1960 के दशक में भारतीय टीम एशिया की सबसे मजबूत फुटबॉल टीमों में से एक थी। 1954 में मेलबर्न ओलंपिक में भारतीय टीम चौथे स्थान पर रही थी, जो किसी एशियन टीम का आज भी बेस्ट प्रदर्शन है। 1951 और 1962 में भारतीय टीम ने एशियन गेम्स में गोल्ड मेडल जीते। इसके अलावा 1964 AFC एशियन कप में भारतीय टीम ने दूसरा स्थान हासिल किया था।
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हॉकी का क्या हाल है?
भारतीय हॉकी टीम ने लगातार दो ओलंपिक में मेडल जीते हैं लेकिन वर्ल्ड लेवल पर अभी भी टीम के प्रदर्शन में निरंतरता नहीं है। हॉकी टीम वर्ल्ड रैंकिंग में फिलहाल सातवें स्थान पर है। भारतीय टीम हाल ही में समाप्त हुई FIH प्रो लीग 2024-25 में 9 टीमों में आठवें स्थान पर रही थी।
आजादी के बाद 4 ओलंपिक गोल्ड (1952, 1956, 1964 और 1980 में) जीतने वाली भारतीय हॉकी टीम लंदन ओलंपिक में आखिरी पायदान पर रही थी। भारत ने हॉकी में 1980 के बाद से कोई ओलंपिक मेडल नहीं जीते थे। टोक्यो ओलंपिक 2021 में यह सूखा खत्म हुआ, जहां हॉकी टीम ने ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया। भारतीय टीम ने पेरिस ओलंपिक 2024 में भी ब्रॉन्ज जीता। 1972 के बाद यह पहला अवसर था जब भारतीय हॉकी टीम ने लगातार दो ओलंपिक में मेडल जीते।
एथलेटिक्स में नीरज चोपड़ा के अलावा और कौन?
जैवलिन स्टार नीरज चोपड़ा ने 2021 टोक्यो ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीता था। आजादी के बाद एथलेटिक्स में भारत का यह पहला मेडल रहा। नीरज ने इसके बाद 2024 पेरिस ओलंपिक में भी सिल्वर मेडल अपने नाम किया। नीरज जैवलिन में मौजूदा वर्ल्ड चैंपियन हैं। एथलेटिक्स में उन्होंने हर जगह देश का नाम ऊंचा किया है लेकिन फिलहाल उनके अलावा कोई बड़े इवेंट में मेडल का दावेदार नजर नहीं आता। अनिमेष कुजूर (धावक) और अविनाश साबले (स्टीपलचेज) ने बेहतर किया है लेकिन उन्हें वर्ल्ड लेवल मेडल के लिए काफी मेहनत करनी होगी।
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वर्ल्ड क्रिकेट में भारत का राज
देश के आजाद होने के बाद खेलों में सबसे ज्यादा प्रगति क्रिकेट ने की है। क्रिकेट में भारत का सिक्का चलता है। भारतीय क्रिकेट टीम चार वर्ल्ड कप ट्रॉफी (2 ODI और 2 T20I) जीत चुकी है। इसके अलावा 3 ICC चैंपियंस ट्रॉफी (2002 में ट्रॉफी शेयर हुआ था) भी टीम इंडिया ने अपने नाम किए हैं। भारतीय क्रिकेट को चलानी वाली संस्था BCCI दुनिया में सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड है। भारतीय क्रिकेट टीम टेस्ट रैंकिंग में फिलहाल चौथे स्थान पर है, जबकि ODI और T20I में दुनिया की नंबर-1 टीम है।
भारत की क्रिकेट लीग IPL की दुनिया की टॉप-5 प्राइवेट स्पोर्ट्स लीग्स में शामिल हो चुकी है। IPL की वैल्युएशन 18.5 बिलियन डॉलर पहुंच गई है।
मिट्टी से मैट तक पहुंचा कबड्डी
देसी खेल कबड्डी ने मिट्टी से मैट तक का सफर तय कर लिया है। भारत की प्रो कबड्डी लीग (PKL) लगातार नई ऊंचाइयों को छू रही है। लीग की वैल्युएशन 1000 करोड़ के आस-पास है। भारतीय कबड्डी टीम का एशियन गेम्स से लेकर वर्ल्ड तक दबदबा है। एशियन गेम्स में भारतीय टीम अब तक 11 गोल्ड मेडल जीत चुकी है। वहीं अब तक हुए तीन वर्ल्ड कप में चैंपियन रही है। देश से बाहर भी कबड्डी का जबरदस्त क्रेज देखा जा रहा है, जिससे आने वाले ओलंपिक गेम्स में कबड्डी को भी शामिल किए जाने की संभावना बन रही है।