बिहार के बेतिया में एक दर्दनाक हादसे में तीन किशोरों की मौत हो गई। तीनों दोस्त रेलवे ट्रैक पर बैठकर कान में इयरफोन पहनकर गेम खेल रहे थे और उसी दौरान तेज रफ्तार ट्रेन ने तीनों को चपेट में ले लिया। तीनों मोबाइल गेम में इतने मशगूल हो गए थे कि उन्हें ट्रेन आने की आहट तक नहीं सुनी। घटना बेतिया-सुगौली रेल लाइन मंशा टोला रेलवे फाटक के पास गुरुवार को हुई। तीनों की उम्र 14 से 16 साल के बीच थी।
मोबाइल गेम में थे मशगूल
तीनों किशोर मोबाइल गेम में मशगूल थे। इसी दौरान बेतिया से सुगौली की ओर जा रही ट्रेन तेज रफ्तार में आई और तीनों को अपनी चपेट में ले लिया। हादसा बेहद भयानक था। मौके पर ही तीनों की मौत हो गई। घटना के बाद आसपास के लोग तुरंत घटनास्थल पर पहुंचे और पुलिस को सूचित किया। मृतकों की पहचान समीर आलम, फुरकान आलम और सदाब के रूप में हुई है।
परिजनों का बुरा हाल
परिजनों को जब इस हादसे की सूचना दी गई तो उनका रो-रो कर बुरा हाल हो गया। मोबाइल गेम की लत और लापरवाही के कारण ऐसे न जाने कितने ही किशोर हादसे का शिकार हुए है। ऐसी खबरों से बच्चों और युवाओं को सबक लेने की जरूरत है। माता-पिता भी अपने बच्चों को इस तरह के खतरों से दूर रखने के लिए जागरूक करें। बता दें कि रेलवे ट्रैक पर बैठकर कानों में इयरफोन लगाकर मोबाइल गेम खेलना जानलेवा हो सकता है।
एसडीपीओ ने घटना को लेकर क्या कहा?
एसडीपीओ विवेक दीप ने कहा, 'हम दुर्घटना की वास्तविक परिस्थितियों का पता लगाने के लिए पीड़ितों के परिवार के सदस्यों से बयान लेने की भी कोशिश कर रहे हैं। प्रारंभिक जांच से पता चलता है कि वे रेलवे ट्रैक पर बैठकर मोबाइल फोन पर गेम खेल रहे थे।'
रेलवे ट्रैक पर मोबाइल गेम खेलने के खतरों के बारे में भी चिंता बढ़ गई है। अधिकारी माता-पिता से बच्चों की गेमिंग आदतों पर नजर रखने और उन्हें भविष्य में ऐसी त्रासदियों को रोकने के लिए सार्वजनिक स्थानों पर सतर्क रहने का आग्रह कर रहे हैं।