राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर ने कहा है कि आज महिलाएं आंगन से लेकर अंतरिक्ष तक का सफर तय कर रही हैं इसलिए उन्हें क्रोशे से लेकर कोडिंग तक की जानकारी होनी चाहिए। इसके लिए राष्ट्रीय महिला आयोग, फ्यूचर शिफ्ट लैब के साथ मिलकर यशोदा AI कार्यक्रम संचालित कर रहा है, जिसमें महिलाओं को कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) की जानकारी और इसके उपयोग के बारे में प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है।
बुधवार को राष्ट्रीय महिला आयोग और फ्यूचर शिफ्ट लैब की ओर से जहानाबाद जिला सभागार में स्वास्थ्य और शिक्षा विभाग की महिलाकर्मियों के लिए यशोदा AI प्रशिक्षण कार्यशाला आयोजित की गई। जिसका उद्घाटन करते हुए राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर ने कहा कि AI तकनीक हमारे जीवन में नए क्षितिज खोलने जा रही है लेकिन असामाजिक तत्व भी एआई के जरिए समाज को नुकसान पहुंचा सकते हैं।
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खासकर महिलाएं उनके आसान निशाने पर हो सकती हैं इसलिए महिलाओं को एआई की जानकारी देने के लिए राष्ट्रीय महिला आयोग, फ्यूचर शिफ्ट लैब के साथ मिलकर एआई साक्षर नारी, जन जागरूकता कार्यक्रम संचालित कर रहा है। जिसमें अपेक्षाकृत पिछड़े और ग्रामीण समाज के बीच विशेष कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं।
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इसी क्रम में बिहार में यह कार्यक्रम आयोजित किया गया। उन्होंने कहा कि खासकर महिलाओं को साइबर क्राइम और वित्तीय धोखाधड़ी से बचने के लिए एआई की जानकारी होनी चाहिए। महिलाएं एआई दक्ष होकर ‘एआई सखी’ के तौर पर समाज में अहम बदलाव का आधार बन सकती हैं। इस मौके पर फ्यूचर शिफ्ट लैब की ओर से करीब 60 महिलाओं को एआई का हैंड्स-ऑन प्रशिक्षण प्रदान किया गया। जिसमें फ्यूचर शिफ्ट लैब के निर्मल सोनी, तुषार व्यास, दीपांशु कुमार और हर्षिता सोनी ने महिलाओं को प्रशिक्षण दिया।