उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद जिले के एक मदरसे से चौंकाने वाला मामला सामने आया है। आरोप है कि मदरसा प्रशासन ने एक छात्रा के चरित्र पर सवाल उठाते हुए उसका एडमिशन रोक दिया। पीड़ित परिवार ने इस पूरे मामले की शिकायत मुरादाबाद एसएसपी से की है। परिवार का कहना है कि मदरसा प्रशासन ने 8वीं कक्षा में दाखिले के लिए छात्रा का वर्जिनिटी सर्टिफिकेट यानी मेडिकल टेस्ट रिपोर्ट मांगी। प्रशासन की ओर से साफ कहा गया कि जब तक मेडिकल टेस्ट नहीं कराया जाएगा, तब तक बच्ची को मदरसे में प्रवेश नहीं दिया जाएगा।
यह पूरा मामला मुरादाबाद जिले के पाकबाड़ा थाना क्षेत्र के लोधीपुर इलाके में स्थित जामिया असानुल बनाता गर्ल्स कॉलेज (मदरसा) का बताया जा रहा है। छात्रा के परिवार ने जब मदरसा प्रशासन का विरोध किया, तो मदरसा प्रबंधन ने उनके साथ बदसलूकी की और उन्हें जबरन मदरसे से बाहर निकाल दिया। पीड़ित परिवार चंडीगढ़ का रहने वाला है और पिता ने इस मामले को उजागर करते हुए एक वीडियो सोशल मीडिया पर शेयर किया है।
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SSP को दी गई लिखित शिकायत
बच्ची के पिता मोहम्मद यूसुफ ने मामले को लेकर SSP मुरादाबाद से लिखित शिकायत की है। शिकायत में पीड़ित ने आरोप लगाया कि उनकी बेटी की मर्यादा का अपमान किया गया। यूसुफ ने पुलिस को वह ट्रांसफर सर्टिफिकेट (TC) फॉर्म भी दिखाया, जिसमें मेडिकल रिपोर्ट लाने की बात लिखी हुई है।
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मदरसा प्रशासन ने दी परिवार को धमकी
पीड़ित परिवार का कहना है कि मदरसा प्रशासन ने उन्हें धमकी दी है कि अगर उन्होंने कहीं शिकायत की, तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल पुलिस ने पूरे प्रकरण की जांच शुरू कर दी है।
मुरादाबाद के एसपी सिटी रणविजय सिंह ने बताया, 'चंडीगढ़ निवासी व्यक्ति ने एसएसपी को शिकायत दी है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि उनकी बेटी के चरित्र पर टिप्पणी की गई और जबरन ट्रांसफर सर्टिफिकेट देकर उसे बाहर निकाल दिया गया। मामले की जांच की जा रही है।'