पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में शनिवार को एक सुसाइड बॉम्बिंग में कम से कम 13 सुरक्षाकर्मियों की मौत हो गई और 24 लोग घायल हो गए। यह हमला मीर अली इलाके में एक सुरक्षा काफिले पर हुआ। पाकिस्तानी सेना के अनुसार, एक आत्मघाती हमलावर ने विस्फोटक से भरे वाहन के साथ काफिले को निशाना बनाया, लेकिन काफिले के अगले वाहन ने उसे रोक लिया। इस हमले में 14 आम नागरिकों सहित 24 लोग घायल हुए हैं।
न्यूज एजेंसी एएफपी के अनुसार, इस हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान तालिबान (टीपीपी) के एक गुट, हाफिज गुल बहादुर समूह ने ली है। हालांकि, पाकिस्तान भारत के ऊपर इस हमले को करवाने का आरोप लगा रहा है।
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पाकिस्तान का भारत पर आरोप
हमले के तुरंत बाद, पाकिस्तान की सेना ने भारत पर इस हमले का आरोप लगाया। पाकिस्तान के इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (आईएसपीआर) ने बयान जारी कर कहा, 'पाकिस्तान की सुरक्षा सेनाएं देश से भारत द्वारा प्रायोजित आतंकवाद को खत्म करने के लिए दृढ़ हैं। हमारे बहादुर सैनिकों और निर्दोष नागरिकों का बलिदान हमारी मातृभूमि की रक्षा के लिए हमारी प्रतिबद्धता को और मजबूत करता है।'
भारत ने खारिज किए आरोप
भारत ने पाकिस्तान के इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया। विदेश मंत्रालय ने कहा, 'पाकिस्तान सेना का 28 जून को वजीरिस्तान में हुए हमले के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराने वाला बयान हम पूरी तरह से खारिज करते हैं।'
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राष्ट्रपति जरदारी ने की निंदा
पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने इस हमले की कड़ी निंदा की और मारे गए 13 सुरक्षाकर्मियों को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा, 'शहीदों ने अपनी जान देकर मातृभूमि की सुरक्षा सुनिश्चित की। इस तरह के कायराना हमले हमारे देश के हौसले को कमजोर नहीं कर सकते।'
यह हमला पाकिस्तान में बढ़ते आतंकवाद के खतरे को दर्शाता है, और इसने क्षेत्र में तनाव को और बढ़ा दिया है।