नागपुर में चल रहे औरंगजेब विवाद से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ अपने को दूर करता हुआ नजर आ रहा है। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान आरएसएस के वरिष्ठ पदाधिकारी सुनील आंबेकर ने कहा कि मुगल बादशाह औरंगजेब आज प्रासंगिक नहीं है और किसी भी तरह की हिंसा समाज के लिए अच्छी नहीं है।
औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग को लेकर दक्षिणपंथी संगठनों द्वारा विरोध प्रदर्शन के बाद दो समुदायों के बीच हुई झड़पों में 30 से अधिक लोग घायल हो गए। इनमें ज्यादातर लोग पुलिसकर्मी थे।
यह भी पढ़ें: औरंगजेब मकबरा विवाद: नागपुर में भड़की हिंसा; पथराव, वाहनों को लगाई आग
RSS ने किया किनारा
उन्होंने कहा, 'सवाल यह है कि अगर औरंगजेब आज भी प्रासंगिक है, तो क्या मकबरा हटा दिया जाना चाहिए? जवाब यह है कि वह प्रासंगिक नहीं है। किसी भी तरह की हिंसा समाज के लिए अच्छी नहीं है।'
17वीं सदी के मुगल बादशाह को लेकर विवाद राज्य में कोई नई बात नहीं है।
विवादों का ताजा दौर फिल्म 'छावा' की रिलीज के बाद शुरू हुआ, जिसमें मराठा राजा छत्रपति संभाजी महाराज के इतिहास और औरंगजेब द्वारा उन्हें कैसे मौत के घाट उतारा गया, को दिखाया गया है।
VHP ने किया था आंदोलन
सोमवार को विश्व हिंदू परिषद (VHP) और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने खुल्दाबाद में औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग को लेकर आंदोलन किया।
प्रदर्शन के दौरान चादर के साथ औरंगजेब का पुतला जलाया गया। हालांकि, कथित तौर पर अफवाह फैली कि कुछ धार्मिक सामग्री जलाई गई है, जिससे इलाके में तनाव फैल गया। इसके कारण महल और हंसपुरी इलाकों में बड़े पैमाने पर तोड़फोड़ और आगजनी हुई, भीड़ ने निवासियों के घरों को भी निशाना बनाया और कई वाहनों को आग लगा दी।
यह भी पढ़ें: 'प्री-प्लान्ड अटैक, छावा और बवाल', नागपुर हिंसा पर क्या बोले फडणवीस
MDP नेता हुए गिरफ्तार
बुधवार को पुलिस ने बताया कि माइनॉरिटीज डेमोक्रेटिक पार्टी (एमडीपी) के नेता और हिंसा के मास्टरमाइंड फहीम शमीम खान को गिरफ्तार कर लिया गया है।
विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा कि संगठन ने शांतिपूर्ण प्रदर्शन किया और हिंसा को नहीं भड़काया।
विहिप प्रमुख ने कहा, 'मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि हिंसा की योजना बनाई गई थी... पेट्रोल बम तुरंत नहीं मिल सकते, उन्हें पहले से तैयार किया गया था। यह किसी उकसावे के कारण नहीं हुआ। हमारा प्रदर्शन शांतिपूर्ण था।'